कश्मीर में 4 आतंकियों को मौत के घाट उतार वीरगति को प्राप्त शहीद मेजर योगेश गुप्ता की प्रतिमा का गृहमंत्री विज ने परिजनों की मौजूदगी में किया अनावरण
छावनी में बन रहा हैं ऐतिहासिक शहीद स्मारक व आज शहीद मेजर योगेश गुप्ता की प्रतिमा का अनावरण, गृहमंत्री विज सही मायनों में दे रहे शहीदों की सोच पर पहरा
अम्बाला (ज्योतिकण डेस्क) 12 जुलाई 2002 को जम्मू कश्मीर के रंजाती में चार आतंकवादियों को मौत के घाट उतारने के देश के दुश्मनों से लड़ते हुए शहादत पाने वाले अम्बाला छावनी के लाल मेजर योगेश गुप्ता की प्रतिमा का आज अम्बाला छावनी में बीडी स्कूल के नजदीक अनावरण हरियाणा के गृह मंत्री अनिल विज ने किया l इस मौके पर शहीद योगेश गुप्ता के पिता शहीद के पिता वेद प्रकाश,भाई विकास गुप्ता,भतीजी स्मायरा गुप्ता व अन्य पारिवारिक सदस्य मौजूद थे l उल्लेखनीय हैं 12 जुलाई 2002 में जम्मू कश्मीर के सूरनकोट में सेना को सूचना थी कि कुछ आतंकवादी क्षेत्र में घुसे हैं। इसी को लेकर आपरेशन प्रचंड प्रहार शुरू किया गया था और सुबह साढ़े चार बजे सेना व आतंकवादियों से मुठभेड़ शुरू हुई थी। इस दौरान मेजर योगेश गुप्ता के पेट में कई गोलियां लगी, जिससे वे घायल हो गये। इसके बावजूद उन्होंने मोर्चा नहीं छोड़ा और आतंकवादियों से लोहा लेते रहे। क्रास फायरिग में मेजर योगेश ने चार खतरनाक आतंकवादियों को मौत के घाट उतार दिया, जबकि वे वीरगति को प्राप्त हो गए।
गृह मंत्री ने इस मौके पर यह भी कहा कि आज हम अपने जवानों की बदौलत ही चैन की नींद सौते हैं। हम अपना कारोबार या फिर कोई भी गतिविधि शांतिप्रिय तरीके से इसलिए कर पा रहे है कि हमारे जवान सीमाओं पर जाग रहे हैं, भारत माता की रक्षा के लिए दिन-रात निर्भीक होकर अपने प्राणों की चिन्ता न करते हुए सीमाओं पर पहरा दे रहें हैं। उन्होंने यह भी कहा कि मैं ऐसे परिवार को नमन करना चाहता हूं और उनके चरण छूना चाहता हूं जिसने बहादुर बेटा देश को दिया हैं। इस मौके पर वह भावुक भी हो गए और मेजर शहीद योगेश गुप्ता के पिता वेद प्रकाश गुप्ता के चरण छुएं। उन्होंने कहा कि हमारी सीमाएं हमेशा से ही सघ्ंार्षपूर्ण रही हैं। हिन्दुस्तान आजाद हुआ और कश्मीरी काबिलियों से हमारा मुकाबला हुआ। उन्होंने कहा कि 1962 में हमारे जवानों ने चीन के साथ हुए सघंर्ष में अपनी वीरता का परिचय दिया, 1965 में हमनें पाकिस्तान को नाको चने चबवाएं, 1971 में हमने पाकिस्तान के दो टुकड़े कर दिए। उन्होंने कहा कि आजकल फिर लेह-लद्दाख में हड्डियों को कंप-कंपा देने वाली सर्दी में जहां पर माईनिस 40 डिग्री सैल्सियस तापमान रहता है, वहां हमारे जवान चीन की हर गतिविधि पर पूरी नजर रखे हुए हैं और जवाब देने के लिए 24 घंटे तत्पर रहते हैं। उन्होंने कहा कि जो देश शहीदों को भूल जाता है वह फना हो जाता है, उसकी हस्तियां मिट जाती हैं। उन्होंने कहा कि हमें अपने वीर शहीदों की गौरव गाथाओं बारे अपनी यूवा पीढ़ी को अवगत करवाना चाहिए ताकि उनमें देश भक्ति की भावना पैदा हो सकें।
इस मौके पर मेजर शहीद योगेश गुप्ता के पिता वेद प्रकाश गुप्ता ने गृह मंत्री द्वारा जो उन्हें सम्मान और आदर दिया गया है उनके लिए उनका आभार व्यक्त किया और बताया कि उनका बेटा बचपन से ही बहुत बहादुर था। उसके दिल में देश के लिए कुछ करने की तमन्ना थी। योगेश ने अपनी स्कूली शिक्षा सैनिक स्कूल कपूरथला से पूरी की और भारतीय फौज में अफसर के तौर पर जाने का दृढ़ निश्चय किया। योगेश अपने सभी सगे, सम्बध्ंिायों और दोस्तों का बहुत ही दुलारा था। उन्होंने कहा कि आजादी सिर्फ और सिर्फ इन वीरो की कुर्बानी के कारण ही मना पा रहे है और हर भारतवासी को इसका सम्मान करना चाहिए।
इस मौके पर एंटी टेरोरिस्ट फ्रंट इंडिया के राष्ट्रीय अध्यक्ष वीरेश शांडिल्य,राजीव डिम्पल, अजय बवेजा, मीडिया कोर्डिनेटर विजेन्द्र चौहान, रमन अग्रवाल, रवि चौधरी, विजय गुप्ता, सतपाल ढल्ल, रामबाबू यादव, दीपक भसीन, विपिन खन्ना, कपिल विज, संजीव सोनी, अनिल कौशल,श्याम सुन्दर, सुभाष शर्मा, सुनिता अरोड़ा, अनिल धीर, ललित चौधरी, परवेश शर्मा, विपिन खन्ना, नीरू अग्रवाल, राज कुमार राजा, नरेश अग्रवाल, अनिल नागर, आरती सहगल, ओम प्रकाश धीर, आशीष अग्रवाल, अनिल बहल, इकबाल ढांडा, प्रभजोत, डॉ श्याम सिंगला, गुलशन, सचिव राजेश कुमार, एमई हरीश सहित अन्य गणमान्य लोग मौजूद रहें।