असीम गोयल की लकीर ने अन्य राजनीतिक दलों के नेताओं की लकीर को बौना किया
अम्बाला (ज्योतिकण न्यूज): अम्बाला शहर के दूसरी बार विधायक बने असीम गोयल भले ही 2014 में अपनी पार्टी टिकट व मोदी लहर में जीते हों लेकिन 2019 का विधानसभा चुनाव उन्होंने अपने विकास कार्यों के कारण जीता था लेकिन 2019 के बाद असीम गोयल की सोच बिल्कुल बदल गई है वह अम्बाला शहर विधानसभा क्षेत्र के लोगों के लिए समर्पित हो चुके हैं। हर वक्त उपलब्ध हैं। और 2020 में कोरोना काल में असीम गोयल का राजनीतिक व्यक्ति के इलावा मानवीय चेहरा भी लोगों ने देखा। अब असीम गोयल खुद नहीं उनके काम बोलते हैं। उनके विकास के कार्य बोलते हैं और असीम गोयल की सबसे बड़ी काबलियत यह है कि वह पार्टी बाजी से ऊपर उठकर नगर सेवक के रूप में ही कार्य कर रहे हैं। जिस ढंग से उन्होंने कोरोना की दूसरी लहर में टीका है जिंदगी अभियान चलाया उसके बाद अब लोगों में असीम का राजनीतिक व सामाजिक दोनों कद बढ़े उनकी सोच के लोग कायल हुए यही कारण है कि आज अम्बाला शहर की राजनीति में असीम गोयल ने अपनी लकीर इतनी लम्बी कर ली कि दूसरी पार्टी के नेताओं की लकीर बौनी पड़ गई है।