अनिल विज हरियाणा के पहले गृह मंत्री जो लोगों की शिकायतों पर दूध का दूध और पानी करवाते हैं
अम्बाला (ज्योतिकण न्यूज): हरियाणा के चाहे आम आदमी हों, खास आदमी हों, वीआईपी हों, वीवीआईपी हों, ब्यूरोक्रेटस हों अनिल विज के लिए सभी एक समान हैं। शायद अनिल विज हरियाणा के पहले ऐसे गृह मंत्री हैं जो संविधान में लिखी इन लाईनों पर फिट बैठते हैं ‘आल मैन आर इक्वल’ अर्थात संविधान हर आदमी को एक समान देखता है। वही सोच गृह मंत्री अनिल विज की है। ऐसा नहीं है आम आदमी को मिलने के लिए कोई और स्थान, खास को मिलने के लिए कोई और स्थान और वीआईपी व वीवीआईपी के लिए कोई और स्थान उनके लिए सभी एक समान है और सभी को एक ही जगह बैठकर सुनते हैं। हरियाणा 1966 को बना था लेकिन अनिल विज जैसा गृह मंत्री ना हुआ ना होगा। जैसे सरदार पटेल के बाद उनके जैसा कोई दूसरा नहीं। हरियाणा के गृह मंत्री अनिल विज लोगों की समस्याओं को मात्र सुनते ही नहीं बल्कि उनकी कलम के बाद अधिकारी शिकायतकर्त्ता को दूध का दूध और पानी का पानी करके इंसाफ देता है। और जो अनिल विज के दिल में है वही लभ पर है। अनिल विज इस सदी के लोगों के लिए संकट मोचक का काम कर रहे हैं।
जिस तरह हनुमान जी भगवान राम के निस्वार्थ भगत थे वैसे ही अनिल विज भी हरियाणा के लोगों की सेवा निस्वार्थ रूप से कर रहे हैं। उनके पास ना तो झूठ है, ना फरेब है, ना दिखावा है, ना बनावट है अनिल विज में तो बस इंसानियत है। यही कारण है कि जब लोगों को अनिल विज के हस्ताक्षेप के बाद जस्टिस मिलता है तो लोग उनके निवास पर जाकर उनका थैंक्स करते हैं। अनिल विज का दो टूक जवाब होता है कि मैने आप लोगों के ऊपर ऐहसान नहीं किया आपको जस्टिस दिलवाने के लिए ही मुझे मेरी पार्टी ने गृह मंत्री बनाया है। और वह थैंक्स में विश्वास नहीं करते। भगवान ने जो उनकी ड्यूटी लगाई है जब तक शरीर में खून व सांस की चल रहे हैं तब तक हरियाणा के लोगों की सेवा करता रहुंगा। 1966 के बाद बंसी लाल एक ऐसे शासक बने थे जिनका प्रशासन में भय था और बंसी लाल के बाद अनिल विज ऐसे शासक बने हैं जिनका ना केवल भय है बल्कि अधिकारी भी यह बात कहने से गुरेज नहीं करते कि अनिल विज बेदाग हैं, निष्पक्ष हैं, निस्वार्थ हैं। यही कारण है कि हरियाणा प्रदेश के तमाम छोटे बड़े अधिकारी उनके आदेशों की ईमानदारी से पालना करते हैं। और जबसे कोरोना से जंग जीतकर आए तो पहले से भी लोगों की सेवा के लिए समर्पित हो गए। क्योंकि अनिल विज एक एक कविता गाई थी कि तुम्हारी दुआओं की वजह से मैं जिंदा हुंू। अनिल विज हरियाणा हरियाणा के पहले एसे गृह मंत्री हैं जिनको ना तो गुमराह किया जा सकता है ना उनका मिसयूज किया जा सकता है। ऐसे लोगों के लिए वह आरडीएक्स से भी ज्यादा खतरनाक हैं।